Agneepath Protest : देश के विभिन्न राज्यों में सरकार (Government) की अग्निपथ योजना (Agneepath Scheme) के खिलाफ युवा जमकर प्रदर्शन (Protest) कर रहे हैं। जगह-जगह हो रहे प्रदर्शन के कारण यातायात व्यवस्था भी बाधित हो गई है। वहीं हालात बेहद खराब होते जा रहे हैं। इस माहौल को देखते हुए केंद्रीय मंत्री तथा पूर्व थल सेना प्रमुख जनरल वीके सिंह ने विपक्षी दलों पर जमकर आरोप लगाया है।
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देश के युवाओं को भड़का रहे हैं विपक्षी
पूर्व थल सेना प्रमुख जनरल वीके सिंह ने कहा है कि विपक्षी दल केंद्र सरकार के द्वारा संचालित की जा रही अग्निपथ योजना के खिलाफ देश के युवाओं को भड़का रहे हैं तथा विवाद की स्थिति उत्पन्न करवा रहे हैं। उन्होंने नाराजगी जाहिर करते हुए कहा कि विपक्षियों के पास इन कार्यों के अलावा और कोई काम भी तो नहीं बचा है। इसीलिए वो लोगों के बीच विवाद की स्थिति बना रहे हैं।
न्यूज 18 को दिए गए इंटरव्यू के दौरान केंद्रीय मंत्री तथा पूर्व थल सेना प्रमुख वीके सिंह केंद्र सरकार की अग्निपथ योजना का समर्थन करते हुए दिखाई दिए। उन्होंने कहा कि देश के विभिन्न स्थानों पर हिंसक झड़प हो रही है। विपक्षी दल युवाओं को भड़काने तथा गुमराह करने का काम कर रहे हैं। पूर्व थल सेना प्रमुख जनरल वीके सिंह ने कहा कि युवाओं को थल सेना, नौसेना तथा वायु सेना के लिए तैयार किया जाएगा।
लोगों को 500 रूपए हर दिन देकर जलवाई जा रही है सार्वजनिक संपत्ति
उन्होंने आगे कहा कि विपक्षी दल अग्निपथ योजना के खिलाफ एक टूल किट का प्रयोग कर रहे हैं। विपक्षी दल देश के विभिन्न हिस्सों में हिंसा फैलाने तथा सार्वजनिक संपत्ति को नष्ट करवाने के लिए प्रतिदिन 500 रूपए देकर किराए पर अराजक तत्वों को ला रहे हैं। उन्होंने कहा कि ये विपक्षी पार्टियां ही हैं जो युवाओं को भड़का कर जगह-जगह दंगा करवा रही हैं क्योंकि इनके पास करने लायक और कोई काम नहीं बचा है।
युवाओं के मन में जानबूझकर योजना के प्रति बनाई जा रही है गलत धारणा
केंद्रीय मंत्री ने नाराजगी जताते हुए कहा कि युवाओं के मन में अग्निपथ योजना के खिलाफ जानबूझ कर गलत धारणा बनाई जा रही है। 4 वर्ष का कार्यकाल पूर्ण होने के बाद युवाओं को मिलने वाली उपलब्धियों के बारे में गलत तरीके से समझाया जा रहा है। जिसके कारण युवाओं में तेजी से आक्रोश की स्थिति उत्पन्न हो रही है। उन्होंने इसके अलावा भी कई महत्वपूर्ण जानकारी दी।
पूर्व थल सेना प्रमुख जनरल वीके सिंह ने कहा कि वर्ष 1961 में हम सेना में और अधिक जवानों को लाने के लिए आपातकालीन कमीशन लेकर आए। उन्होंने बताया कि वर्ष 1965 में हमने आपातकालीन आयोग को समाप्त करने का निर्णय लिया। इसके बाद ट्रेनिंग की अवधि 9 महीने तथा कमीशन की अवधि 5 वर्ष कर दी गई थी। 5 वर्ष के बाद प्रदर्शन का आंकलन करते हुए बाकी लोगों को छोड़ने के लिए बोल दिया गया।
उन्होंने यह भी बताया कि उस दौरान पेंशन की व्यवस्था नहीं थी तथा एकमुश्त राशि भी नहीं मिलती थी। जब उनसे अग्निपथ योजना के बड़े लाभ के विषय में पूछा गया तो उन्होंने कहा कि युवाओं की भर्ती से सेना में मजबूती आएगी तथा सेना में युवाओं की संख्या भी बढ़ जाएगी। उन्होंने बताया कि सशस्त्र बलों में हर चीजों को अलग-अलग ढंग से सोचा जाता है।